कानपुर
किसी भी शहर या देश की तरक्की में स्वास्थ्य सेवाएं अहम भूमिका अदा करती हैं। इसी के चलते उत्तर प्रदेश के कानपुर शहर में मेडिकल सेक्टर पर डॉ गोविंद त्रिवेदी ने बताया कि कानपुर के मेडिकल सेक्टर को मजबूत करने की आवश्यकता है।
वैसे तो डॉक्टर गोविंद त्रिवेदी 1990 से प्रैक्टिस कर रहे है और लाखों ऑपरेशन कर चुके हैं वह कानपुर के जानेमाने आर्थो सर्जन हैं। एक क्लीनिक के शुरुवात कर आज वेदांता हॉस्पिटल बना कर जनता को सेवाएं दे रहे हैं।
डॉक्टर त्रिवेदी बताते हैं वह कानपुर को लेकर काफी सक्रिय रहे। वैसे तो कई देशों में काम किया पर कानपुर हमेशा दिल में रहा की अपने शहर में मेडिकल सेक्टर को कैसे मजबूत किया जाए?
डॉक्टर गोविंद त्रिवेदी कहते हैं कानपुर कम से कम उत्तरप्रदेश में बेस्ट हो जाए। आज मेडिकल में कॉरपोरेट सेक्टर की मांग है लखनऊ में तो कई बड़े हॉस्पिटल गए पर कानपुर में एक रीजेंसी को छोड़ कर कोई बड़ा कॉरपोरेट नहीं है। हां यह गलत नहीं है कि इलाज थोड़ा महंगा हो जाता है पर कॉरपोरेट्स को भी थोड़ा कम बजट में कानपुर में स्टार्ट अप करना चाहिए।
कानपुर में लीवर ट्रांसप्लांट , किडनी ट्रांसप्लांट नहीं हो रहा है कार्डियोलॉजी में भी गति काफी धीमी है एंडोस्कोपी ज़्याद नहीं हो रहीं। डॉक्टर त्रिवेदी बताते हैं कि 1990 में ट्रामा सेंटर वही लेकर आए पहले लोग मज़ाक उड़ते थे पर आज सभी ट्रामा सेंटर का लाभ उठा रहे हैं।
डॉक्टर त्रिवेदी कहते हैं मेरी चाह है अपोलो , मेदांता , मैक्स जैसे कॉरपोरेट कानपुर में आए। या फिर 10 बड़े डॉक्टर आपस में बात कर एक प्वाइंट पर सहमत हो और जनता को लाभ पहुंचाएं। जैसे वेदांता में गायनी, लेप्रोस्कॉपी, न्यूरो, ICU डेवोपमेंट हुआ है, मेक इन इंडिया से प्रभावित होकर वेदांता हॉस्पिटल को 80 बेड से 200 बेड का बनवाया। बस एक प्रयास है कानपुर का नाम रौशन होगा और मेडिकल सेक्टर मजबूत होगा।
